ये पहाड़ के मीठे करेले है . मीठे करेले की बहुत ही अच्छी सब्जी बनायी जाती है. बरसात के बाद इन को सूखाकर (सुकसा) बना कर, सर्दियों मैं सब्जी बनायी जाती है।
मीठे करेले की सब्जी उत्तराखंड में बरसात का मौसम में।

ये पहाड़ के मीठे करेले है . मीठे करेले की बहुत ही अच्छी सब्जी बनायी जाती है. बरसात के बाद इन को सूखाकर (सुकसा) बना कर, सर्दियों मैं सब्जी बनायी जाती है।
उत्तरकाशी जिले के सांकरी क्षेत्र का सौड़ गांव का सुन्दर नजारा।
कुछ बचपन की यादें।एक दौर था जब खेतों मे क्रिकेट मैच खेले जाते थे गांव का किसी का भी अच्छी लोकेशन पर खेत चुनते थे तथा परमानेंट हर वर्ष जब यह खेती कटाई हो जाती थी तब पिच बनाई जाती हे सीजन मे खूब खूब...
मिलिए बागेश्वर के शमा क्षेत्र के श्री राजेंदर कोरंगा जी से जो कीवी की खेती करके क्षेत्र को रोजगार का एक नया विकल्प बना रहे है। आज उत्तराखंड मे कीवी लोगों के आजीविका बना हुआ है कोई खेती से तो कोई इसके अलग-अलग उत्पाद तैयार...
ब्रह्म कमल का पौधा घर में लगाना बेहद ही शुभ बताया गया है। वास्तु शास्त्र के अनुसार जिस घर में ये पौधा होता है वहां हमेशा सुख-समृद्धि बनी रहती है। मान्यताओं के अनुसार इस फूल में मां लक्ष्मी का वास होता है एक लाइक तो...
“टंगड़ी के पास, जोशीमठ-चमोली मार्ग पर स्थित इस जगह को ‘पागल नाल’ कहा जाता है। इसकी वजह है यहां का अनिश्चित जल प्रवाह, जो कभी भी तेज़ी से बढ़ जाता है और अचानक सूख जाता है। यहां का जलस्रोत मौसम और पहाड़ों के बदलते मिजाज...
तुमरी खुद अब कै तैं नि लगणीं तुम खुदेणां छां त खुदे ल्या। गढ़रत्न नेगी जी के महान गीत की ये पंक्तियां एकदम पहाड़ में कई बुजुर्गों की जिंदगी की सच्चाई है।
मनाली के फोरलेन टनल के ऊपर हटोण सड़क पर पड़ा गड्ढा को भरने का काम पूरा, 130 टिप्पर 2000 बोरी सीमेंट से भरा गया गड्ढा।
रुद्रप्रयाग के त्रियुगीनारायण गांव की प्रियंका योगी तिवारी उत्तराखंड के पहाड़ों की सबसे मशहूर ब्लॉगर है प्रियंका अपनी वीडियो के माध्यम से पहाड़ के लोगों की जीवनशैली को दिखाती है। उनकी वीडियो को हर दिन लाखों लोग देखते और पसंद करते है।
एक जमाना था जब सांझ होते ही सब के दुआर पर किरोसीन वाला लालटेन टंगा रहता था अब तो 20घंटे से अधिक बिजली रहती है। आखिरी बार आपने लालटेन कब इस्तेमाल किया था?